Home Politics यूपी में अपराधी सरेंडर कर रहे फिर डिप्‍टी सीएम मौर्य के मन में अपनी हत्‍या का डर क्‍यों

यूपी में अपराधी सरेंडर कर रहे फिर डिप्‍टी सीएम मौर्य के मन में अपनी हत्‍या का डर क्‍यों

0
यूपी में अपराधी सरेंडर कर रहे फिर डिप्‍टी सीएम मौर्य के मन में अपनी हत्‍या का डर क्‍यों

[ad_1]

लखनऊ: यूपी में माफिया, गैंगस्‍टरों और अपराधियों की संपत्तियों पर रोज बुलडोजर चल रहा है। अपराधी या तो पुल‍िस के साथ एनकाउंटर में लंगडे़ हो जा रहे हैं या मारे जा रहे हैं। यह हाल देखकर कई थानों में हिस्‍ट्रीशीटर गले में ‘माफ कर दो’ की तख्‍ती लटकाए सरेंडर कर रहे हैं। खुद सीएम योगी आदित्‍यनाथ (Yogi Adityanath) भी विधानसभा में ऐलान कर चुके हैं कि माफिया मिट्टी में मिला दिए जाएंगे। इसके बावजूद उनके डिप्‍टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य (Keshav Prasad Maurya) को एक न्‍यूज चैनल से बातचीत में कहना पड़ा, अखिलेश यादव (Akhilesh YAdav) का बस चले तो मेरी हत्‍या करवा दें।

बड़ा सवाल यह है कि प्रदेश में जहां खुद सरकार दावा करती है कि अपराधी अपराध के ख्‍याल से ही डरने लगे हैं, वहां के डिप्‍टी सीएम को आखिर अपने मर्डर का खौफ क्‍यों सता रहा है? इस सवाल के जवाब में हमें पिछले साल हुए विधानसभा चुनाव तक जाना पडे़गा। चुनावी जंग में समाजवादी पार्टी प्रमुख और पूर्व सीएम अखिलेश यादव और केशव प्रसाद मौर्य के बीच जमकर गर्मागर्मी हुई। हालांकि, चले तो केवल बयानों के ही तीर लेकिन इनकी चोट झुंझलाहट के तौर पर इनके बयानों दिखने लगती है।

कुछ समय पहले सपा के ट्विटर हैंडल से एक ट्वीट किया गया। इसमें कहा गया, केशव प्रसाद मौर्य ने 100 से ज्‍यादा विधायक जोड़ लिए हैं। लगता है मौसम बदलने वाला है। अखिलेश भी मौर्य को कह चुके हैं कि 100 विधायक ले आइए सपा में और सीएम बन जाएं। इसके जवाब में मौर्य ने कहा, सपा के 50 से ज्‍यादा विधायक मेरे संपर्क में हैं। लोकसभा चुनाव से पहले भाजपा उनके बारे में बताएगी।

केशव प्रसाद मौर्य अकसर समाजवादी पार्टी को समाप्‍तवादी पार्टी कहते रहते हैं। जब इसे लेकर बुधवार को अखिलेश से मीडिया ने सवाल किया तो अखिलेश ने चिढ़कर कहा, ‘हम शूद्रों से बात नहीं करते।’ फिर अखिलेश ने पूछा, जो यह कह रहे हैं उनसे जाकर पूछें क‍ि वह शूद्र हैं या नहीं।

यही सवाल जब केशव प्रसाद मौर्य से कहा गया तो वह झल्‍ला गए। उन्‍होंने कहा, ‘मैंने कभी अखिलेश यादव जी के लिए अपमानजनक शब्‍दों का इस्‍तेमाल नहीं किया। हमेशा उन्‍हें अखिलेश जी, पूर्व मुख्‍यमंत्री, नेता प्रतिपक्ष कहा है। असल में वह यह सब खबरों में बने रहने के लिए करते हैं। क्‍या करें उनका बस नहीं चलता वरना वह मेरी हत्‍या करवा दें।’ कुल मिलाकर सियासी नोंकझोंक अब गंभीर होती जा रही है। लेकिन देखना होगा जनता के सामने चुनावी बिसात पर इसके क्‍या नतीजे होंगे।

[ad_2]

Source link

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here