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मुजफ्फरपुर आश्रय गृह मामले में 20 जनवरी 2020 को ब्रजेश ठाकुर और 18 अन्य को कई लड़कियों के यौन शोषण एवं शारीरिक उत्पीड़न का दोषी करार दिया था। इन आरोपों में अधिकतम आजीवन कारावास की सजा का प्रावधान है।
विस्तार
बिहार के मुजफ्फरपुर समेत दूसरे आश्रय गृह में लड़कियों/नाबालिगों के शोषण मामले में आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। इस दौरान सुप्रीम कोर्ट ने बिहार सरकार से 2 हफ्ते में बताने को कहा है कि उसने लापरवाही बरतने वाले अपने अधिकारियों पर क्या कार्रवाई की।
वहीं बिहार सरकार ने सुप्रीम कोर्ट को सूचित किया कि सीबीआई की सिफारिशों के अनुसार दोषी अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की गई है। इस दौरान सीबीआई ने भी अपना पक्ष रखा। सीबीआई ने कहा कि जांच पूरी हो गई है। 19 लोगों को निचली अदालत ने दोषी ठहराया है।
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