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मुजफ्फरपुर. कुढ़नी विधानसभा उपचुनाव का परिणाम आज गुरुवार को आने वाला है. दरअसल लोकसभा चुनाव के पहले कुढ़नी विधानसभा उपचुनाव को बिहार की राजनीति में सेमीफाइनल माना जा रहा है. ऐसे में इस चुनाव के परिणाम का इंतजार बिहार के राजनेताओं के साथ-साथ पूरी जनता को है. 5 दिसंबर को हुये कुढ़नी विधानसभा उपचुनाव का परिणाम कुछ ही घंटों बाद सबके सामने होगा. सुबह 8 बजे से मुजफ्फरपुर के आरडीएस कॉलेज में वोटों को गिनती शुरू हो जाएगी और उम्मीद है कि दोपहर बाद इस चुनाव के परिणाम सबके सामने आ जाएंगे. मतगणना को काउंटिंग सेंटर पर विशेष तैयारी की गयी है. सुरक्षा के भी व्यापक इंतजाम किए गए हैं. बता दें, कुढ़नी उपचुनाव 2022 में 3 लाख 11 हजार 728 वोटरों में से 57.9 प्रतिशत वोटर जिन्होंने अपने मत का प्रयोग किया था.
कुढ़नी विधानसभा उपचुनाव में महागठबंधन ने जेडीयू उम्मीदवार मनोज कुशवाहा को चुनावी मैदान में उतारा है. वहीं बीजेपी की ओर से केदार प्रसाद गुप्ता चुनावी मैदान में अपनी दावेदारी पेश कर रहे हैं. इसके अलावा मुकेश सहनी की वीआईपी और असदुद्दीन ओवैसी की एआईएमआईएम के उम्मीदवार भी चुनाव में अपनी किस्मत आजमा रहे हैं. ऐसे में यह चुनाव बिहार के सीएम नीतीश कुमार के साथ-साथ बीजेपी व अन्य दलों के लिए भी प्रतिष्ठा की बात बन गयी है.
सभी दलों ने झोंकी पूरी ताकत
बता दें, कुढ़नी विधानसभा उपचुनाव को अपने पाले में करने के लिए तमाम सियासी दलों ने पूरी ताकत झोंक दी थी. दरअसल, इन दलों को भी पता है कि कुढ़नी का चुनाव परिणाम आनेवाले समय में सियासी समीकरण बनाने में बेहद मददगार हो सकती है कि कौन से समीकरणों और मोर्चे पर ज्यादा काम करना है; या फिर किस पाले को मजबूती से पकड़ कर रखना है. गौरतलब है कि आरजेडी विधायक अनिल सहनी को अदालत से सजा सुनाये जाने के बाद उनकी सदस्यता रद्द होने के कारण कुढ़नी विधानसभा उपचुनाव कराया गया है.
प्रतिष्ठा की सीट बनी कुढ़नी
बिहार के वरिष्ठ पत्रकार अरुण पांडे कुढ़नी विधान सभा उपचुनाव को बिहार के सियासत के लिए बेहद महत्वपूर्ण मानते हैं. वे कहते हैं, ये चुनाव सरकार लड़ रही थी. खासकर नीतीश कुमार ने ये सीट राजद से मांग कर लड़ी है, वो भी तब जब ये सीट राजद के पास थी. इस वजह से भी जदयू के लिए ये सीट महागठबंधन से ज्यादा जदयू के लिए प्रतिष्ठा की सीट बन गई है. यही वजह है कि जदयू के तमाम शीर्ष नेताओं ने कुढ़नी में जीत के लिए दिन रात मेहनत की है. खुद ललन सिंह ने कुढ़नी में कैंप किया था. इसके साथ ही चुनाव प्रचार के आखिरी दिन महागठबंधन के तमाम बड़े नेता भी कुढ़नी में मौजूद थे.
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