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पटना. राजद विधायक अनिल सहनी की सदस्यता खत्म होने के बाद अब बिहार विधानसभा की कुढ़नी सीट पर उपचुनाव हो रहा है. इस उपचुनाव में सत्ताधारी गठबंधन और बीजेपी की प्रतिष्ठा दांव पर लगी हुई है. राजद ने इस बार अपनी सीटिंग सीट सहयोगी जेडीयू के हवाले कर दिया है. चुनावी मैदान में जेडीयू और बीजेपी तो है हीं, मुकेश सहनी की पार्टी वीआईपी और ओवैसी की पार्टी एआईएमआईएम भी है. वैसे तो लड़ाई आमने-सामने की है लेकिन ये दोनों दल जेडीयू और बीजेपी को नुकसान पहुंचायेंगे.
हाल ही में संपन्न हुए गोपालगंज विस सीट के चुनाव में ओवैसी की पार्टी ने अपनी क्षमता दिखाकर महागठबंधन को टेंशन में ला दिया है, वहीं बोचहां में हुए उपचुनाव में सहनी की पार्टी वीआईपी ने बीजेपी को भारी नुकसान पहुंचाया था. कुढ़नी विधानसभा उपचुनाव में जेडीयू और बीजेपी के बाद मुकेश साहनी की वीआईपी पार्टी और ओवैसी की एआईएमआईएम के द्वारा भी उम्मीदवार उतार दिया गया है. इन दोनों दलों के उम्मीदवार उतारे जाने के बाद कहा जा रहा है कि महागठबंधन और एनडीए दोनों को नुकसान होगा.
जिस दल का नुकसान कम होगा उसकी जीत होगी. मुकेश सहनी की पार्टी वीआईपी बीजेपी का वोट काटेगी, वहीं एआईएमआईएम के उम्मीदवार राजद के माय समीकरण में सेंध लगाने की तैयारी में हैं. वीआईपी और एआईएमआईएम के द्वारा उम्मीदवार उतारे जाने के बाद महागठबंधन और एनडीए की मुश्किलें बढ़ती नजर आ रही हैं. बावजूद इसके सभी दल के नेता अपनी अपनी जीत की बात करते नजर आ रहे हैं . उम्मीदवार उतारने के बाद वीआईपी पार्टी के प्रवक्ता देव ज्योति ने तो यहां तक ऐलान कर दिया उनकी लड़ाई सीधे बीजेपी से है.
बीजेपी ने जिस तरीके से मुकेश सहनी और उनकी पार्टी को धोखा दिया है उसका अंजाम कुढ़नी उपचुनाव में भुगतना होगा. वीआईपी के ऐलान के बाद बीजेपी ने भी सहनी समाज से आने वाले मुजफ्फरपुर से पार्टी सांसद अजय निषाद में मैदान में उतार दिया है. अजय निषाद ने मुकेश सहनी को ब्लैक मेलर बताया है. बीजेपी प्रदेश कार्यालय में आयोजित प्रेस कांफ्रेंस में बीजेपी सांसद ने कहा कि मुकेश सहनी को सभी लोग जानते हैं. उन्हें जहां पैसा मिलता है वहां उम्मीदवार नहीं उतारते और जहां नहीं मिलता है वहां अपना कैंडिडेट देते हैं. जनता मुकेश सहनी की हकीकत को जानती है.
बता दें, कुढ़नी में जेडीयू ने जहां पूर्व मंत्री मनोज कुशवाहा को उम्मीदवार बनाया है वहीं बीजेपी ने पूर्व विधायक केदार प्रसाद गुप्ता पर एक बार फिर से दांव आजमा रही है, जबकि वीआईपी ने कुढ़नी से चार बार विधायक रहे शाधु शरण शाही के पोता निलाभ कुमार पर दांव खेला है. ओवैसी की पार्टी ने पूर्व जिला पार्षद गुलाम मुर्तजा अंसारी को मैदान में उतारा है. गुलाम मुर्तजा जेडीयू के साथ-साथ आरजेडी में भी रह चुके हैं.
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प्रथम प्रकाशित : 17 नवंबर, 2022, दोपहर 2:13 बजे IST
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